टमाटर

टमाटर विश्व में सबसे ज्यादा प्रयोग होने वाली सब्जी है। इसका पुराना वानस्पतिक नाम लाइकोपोर्सिकान एस्कुलेंटम मिल है। वर्तमान समय में इसे सोलेनम लाइको पोर्सिकान कहते हैं। बहुत से लोग तो ऐसे हैं जो बिना टमाटर के खाना बनाने की कल्पना भी नहीं कर सकते। इसकी उत्पति दक्षिण अमेरिकी ऐन्डीज़ में हुआ। मेक्सिको में इसका भोजन के रूप में प्रयोग आरम्भ हुआ और अमेरिका के स्पेनिस उपनिवेश से होते हुये विश्वभर में फैल गया।

टमाटर में भरपूर मात्रा में कैल्शियम, फास्फोरस व विटामिन सी पाये जाते हैं। एसिडिटी की शिकायत होने पर टमाटरों की खुराक बढ़ाने से यह शिकायत दूर हो जाती है।  हालाँकि टमाटर का स्वाद अम्लीय (खट्टा) होता है, लेकिन यह शरीर में क्षारीय (खारी) प्रतिक्रियाओं को जन्म देता है। लाल-लाल टमाटर देखने में सुन्दर और खाने में स्वादिष्ट होने के साथ पौष्टिक होते हैं। इसके खट्टे स्वाद का कारण यह है कि इसमें साइट्रिक एसिड और मैलिक एसिड पाया जाता है जिसके कारण यह प्रत्यम्ल (एंटासिड) के रूप में काम करता है। टमाटर में विटामिन 'ए' काफी मात्रा में पाया जाता है। यह आँखों के लिये बहुत लाभकारी है।

वनस्पति वैज्ञानिक तौर पर टमाटर फल है: इसका अंडाशय अपने बीज के साथ सपुष्पक पौधा का है। हालांकि, टमाटर में अन्य खाद्य फल की तुलना में काफी कम शक़्क़र सामग्री है और इसलिए यह उतना मीठा नहीं है। यह पाक उपयोगों के लिए एक सब्जी माना जाता है। वैसे आमतौर पर टमाटर को सब्जी ही माना जाता है।

टमाटर खाने के फायदे

रसीले और खाने का स्वाद बढ़ाने वाले टमाटर के अनेक फायदे हैं। टमाटर को लाल रंग देने वाला तत्व लाइकोपीन, जो सेहत के लिए फायदों से भरा है, कच्चे टमाटर से अधिक पकने के बाद प्रभावी होता है। यूं तो टमाटर हर मौसम में फायदेमंद है लेकिन टमाटर त्वचा के लिए भी काफी लाभकारी है। यह झुर्रियों को कम करता है और रोम छिद्रों को बड़ा करता है।

 

टमाटर की खेती आय का उत्तम विकल्प

सब्जियों में टमाटर का प्रमुख स्थान है। इसके फलों को विभिन्न प्रकार से उपयोग में लिया जाता है। इसकी खेती वर्ष भर की जा सकती है। टमाटर में विटामिन 'ए' 'सी' की मात्रा अधिक होती है। इसका उपयोग ताजा फल के रूप में तथा उन्हें पकाकर डिब्बाबंदी करके, अचार, चटनी, सूप, केचप सॉस आदि बनाकर भी किया जाता है। टमाटर में लाल रंग लाइकोपीन नामक पदार्थ से होता है जिसे दुनिया का प्रमुख एन्टिऑक्सीडेन्ट माना गया है।

जलवायु एवं भूमि (Climate & Soil for tomato cultivation) :

टमाटर में लगने वाले कीट एवं रोग और उनका प्रबंधन

प्रमुख कीट

टमाटर में रोपाई से लेकर फसल की कटाई तक बड़ी संख्या में कीटों और रोगों द्वारा किया जाता है । कीड़े जैसे फल छेदक, माहू, सफेद मक्खी, पत्ती खनिक, बदबूदार कीड़े और मकड़ी के कण उपज को कम करते हैं अपितु ये टमाटर पत्ती कर्ल वायरस जैसे संयंत्र रोगों को फैलने में  मदद करते हैं ।

टमाटर फल छेदक

वयस्क: स्टाउटमध्यम आकार, अग्रपंख के केंद्र के मध्य में गहरे धब्बे होते हैं । पिछले पंख पीले रंग के, साथ में ही काले भूरे रंग की सीमा एवं पीले रंग का मार्जिन पाया जाता है ।

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