जैविक कृषि सुरक्षा

उर्वरक की मात्रा को प्रभावित करने वाले करक

फसल की किस्म :- अलग-अलग फसलों कि पोषक तत्व संम्बधी आवष्यकता अलग-अलग होती हैं। उदाहरण के लियें दलहनी फसलों की नत्रजन की आवष्यकता गेहॅू या गन्नों की फसल की तुलना में कम होती हैं। 

मृदा उर्वरता व गठन :- जो मृदाएं कमजोर अथवा कम उर्वरा होती हैं उन में अधिक खाद की आवष्यकता होती हैं। जैसे बलुई भूमियों में दोमट मृदाओं की अपेक्षा एक ही फसल को अधिक खाद देना पड़ता हैं। 
शस्य चक्र :- फसल चक्र में यदि हरी खाद उगा रहें हैं या दलहनी फसल उगा रहें है, तो इसके बाद बाली फसलों को नत्रजन के खादों की कम आवष्यकता हैं। 

किसानों की मुसीबत गन्ने के फसल में पायरिल्ला का अटैक

किसानों की मुसीबत गन्ने के फसल में पायरिल्ला का अटैक

गन्ना उत्पादक किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें छाई हुई हैं, क्योंकि क्षेत्र के गन्ना में पायरिल्ला कीट का अटैक हुआ है। इस प्रकोप से फसलों के नुकसान होने की चिंता किसानों को सताने लगी है।  कृषि विभाग के वैज्ञानिकों की टीम भी इस प्रकोप पर लगातार नजर जमाए हुई है। टीम लगातर क्षेत्र का निरीक्षण कर प्रकाश प्रपंच तकनीक से इस रोग पर नियंत्रण पाने के लिए किसानों को सुझाव दे रहे हैं। 

क्या है पायरिल्ला

उर्वरकों का सही फसल उपयोग क्षमता बढ़ांए

फसल के अछ्छे उत्पादन पाने के लिए  अधिक उर्वरकों  की आवश्यकता नही बल्कि उनका शी मात्रा एवं सही समय पर प्रयोग फसल उन्पदन को लाभकारी बना देता है  कई बार हम लोग  अच्छी उपज के लालच में उर्वेर्कों  का अंधाधुंध प्रयोग करने लगते है जो हानिकारक हो जाता है

नीचे प्रमुख उर्वेर्कों  के बारे में जानकारी दी जा रही है 

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